प्यारी मामी की मस्त चूत चुदाई
Pyari Mami ki Mast Choot Chudai
हैलो दोस्तो, मेरा नाम सोनू है और मैं 24 साल का उ.प्र. का रहने वाला हूँ। मेरा कद 5’11” है और रंग गोरा है.. मैं एक कंप्यूटर इंजीनियर हूँ।
सीधे अपनी बात पर आता हूँ, मुझे चुदाई करना बेहद पसन्द है।
मेरी एक मामी हैं जिनका नाम लक्ष्मी है, वो मेरे घर से 15 किलोमीटर दूर रहती हैं।
वो बहुत ही कामुक हैं, उनकी उम्र 23 साल है उनके एक 2 साल का बेबी है लेकिन वो बहुत सेक्सी लगती हैं। उनका फिगर 32-30-32 है।
मैं लक्ष्मी को बहुत पहले से चोदना चाहता था, पर मौका ही नहीं मिल पा रहा था।
वैसे तो मैं अपनी मामी से मज़ाक कर लेता था लेकिन मेरा उद्देश्य बस उन्हें चोदना ही था।
आज से एक साल पहले जब मैं मामी के यहाँ गया तो मामी घर पर अकेली थीं, मामा कहीं बाहर गए हुए थे।
जब मैं वहाँ पहुँचा, तो मामी ने दरवाजा खोला और मुझसे अन्दर आने को कहा।
मैं अन्दर गया और मैंने मामी से पूछा- मामा कहाँ हैं?
मामी ने बताया वो तो घर पर नहीं है बाहर गए हैं। ये सुन कर मैं बहुत खुश हुआ और सोचा कि आज लक्ष्मी मामी को चोदने का अच्छा मौका है।
मामी ने मजाक करते हुए कहा- मामा से ही काम है.. मामी से नहीं है।
मैंने कहा- नहीं मामी.. ऐसी कोई बात नहीं है.. आपसे काम तो बहुत बड़ा है लेकिन आपसे बता नहीं सकता।
तो मामी ने कहा- ऐसा क्या काम है.. बताओ तो सही?
मैंने कहा- अगर बताऊँगा तो तुम नाराज़ हो जाओगी।
तो मामी ने कहा- ठीक है जैसी तुम्हारी इच्छा.. मत बताओ।
मैं अभी उनसे बात ही कर रहा था कि मामा का फ़ोन आ गया, तो मामी उनसे बात करने लगीं।
मामी ने मामा को बताया कि सोनू आया है तो मामा ने कहा कि उसे आज वहीं रोक लेना, मैं आज नहीं आ पाऊँगा।
मामा ने फोन रख दिया, मामी ने मुझे बताया कि मामा ने कहा है कि आज तुम यहीं रुक जाना।
तो मैंने चुटकी लेते हुए कहा- मामा ने कहा है.. लेकिन आपका मन तो नहीं लगता मुझे रोकने का…
मामी ने कहा- नहीं नहीं.. तुम आज यहीं अपनी मामी के पास रुक जाओ।
इसके बाद हम लोगों ने दोपहर का खाना खाया और बातें करने लगे।
बातें करते-करते हम वहीं सो गए।
जब मैं सोने की कोशिश कर रहा था, तो मामी का बेबी रोने लगा, तो मामी उसे अपने मम्मे से दूध पिलाने लगीं।
जब मामी दूध पिला रही थीं तो मैं जाग गया और मामी के दूधों को देखने लगा, पहले तो मामी ने मुझे नहीं देखा लेकिन जब उन्होंने देखा तो पूछने लगीं- क्या देख रहे हो?
मैंने कहा- कुछ नहीं…
मामी ने कहा- कुछ तो देख रहे थे।
तो मैंने कहा- आपके…
मामी ने कहा- मेरे क्या?
तो मैंने कहा- आपके दूध…
तो मामी बोलीं- हट बदमाश…
तो मैंने मामी से कहा मैं भी तो छोटा ही हूँ.. मुझे नहीं पिलाओगी?
मामी ने कहा- नहीं…
मैंने कहा- मामी पिला दो ना…
तो उन्होंने कहा- तुम छोटे नहीं हो।
तो मैंने कहा- नहीं मैं तो छोटा ही हूँ… पिला दो ना…
तो मामी ने गुस्से से कहा- हट.. न!
मैं शांत हो गया।
हम लोग बातें करने लगे और बातें करते-करते रात हो गई और मामी खाना बनाने लगीं।
उस समय गर्मी बहुत थी तो मामी पसीने से लथपथ हो गईं जिससे उनकी ब्रा दिखने लगी।
मैं भी रसोई में पहुँच गया और जैसे ही मैंने मामी को देखा मेरा लंड खड़ा होने लगा और मैंने मामी से मैंने कहा- मामी क्या मैं आपकी कोई मदद करूँ?
तो वो बोलीं- तुम क्या मदद करोगे?
मैं मामी को घूरे जा रहा था, मामी ने मुझे देख लिया था और मुझसे पूछा- क्या देख रहे हो सोनू?
मैंने कहा- आपको देख रहा हूँ और किसको देख रहा हूँ।
तो मामी बोलीं- ऐसा क्या देख रहे हो.. क्या पहली बार देख रहे हो?
मैंने कहा- मामी आप बहुत सुन्दर हो।
यह सुनकर वो हँसने लगीं और कहा- तुम बैठो.. मैं खाना लगाती हूँ।
इसके बाद हम लोग खाना खाने लगे।
मैंने फिर मामी से कहा- मामी आप वास्तव में बहुत अच्छी लगती मगर आप मामी ना होती तो…
मामी ने मुझसे कहा- मामी ना होती तो… तुम क्या करते?
मैं कुछ नहीं बोला और बस उन्हें देखता रहा।
खाना खाने के बाद हम लोग बातें करने लगे और वो अपने बेबी को सुलाने लगीं।
हम लोग टीवी देखने लगे, मैं मामी के पास में ही बैठा था और सोच रहा था कि कैसे लक्ष्मी को चोदूँ…
तो मुझे एक आइडिया आया और मैंने मामी से शरारत करते हुए कहा- बताओ अब क्या किया जाए?
तो मामी मुस्कराने लगीं, बोलीं- क्या करोगे?
मैं बोला- जो आप कहें।
वो बोली- अच्छा…
मैंने मामी से फिर कहा- आप बहुत ही सेक्सी हैं।
तो वो मुस्कराते हुए वहाँ से चली गईं और जाकर कमरे में कपड़े बदलने लगीं।
फिर उन्होंने मुझे आवाज दे कर बुलाया।
मैं वहाँ पहुँचा.. वो बहुत ही मादक लग रही थीं।
अब रात के दस बज चुके थे मैंने मामी से कहा- अब तो आप और भी सेक्सी लग रही हैं।
वो बोली- बहुत तारीफ़ कर रहे हो.. क्या बात है.. मुझे तुम्हारे इरादे अच्छे नहीं लग रहे हैं।
मैं भी मुस्कराने लगा और उनसे कहा- मैं तो पागल हो रहा हूँ। एक बात कहूँ बुरा तो नहीं मानोगी?
वो बोलीं- नहीं.. जो भी कहना है कह दो…
मैंने कहा- आई वांट टू हग यू!
वो बोली- तो कर लो ना.. इसमें क्या बात है।
मैंने लक्ष्मी को ज़ोर से पकड़ लिया और अपनी बाँहों में भर लिया। मेरा लंड भी तन कर 8 इंच का हो गया था, वो भी उनकी चूत को छू रहा था।
मैंने मामी के गाल पर चुम्बन कर दिया। उन्होंने मुझे धक्का दे दिया और मैं मुस्कुराते हुए अलग हो गया।
वो बोली- तुम बहुत गंदे हो।
मैंने मामी का हाथ पकड़ लिया और कहा- मामी प्लीज़ अपने भांजे पर दया कर दो प्लीज़…
वो बोली- क्या दया कर दूँ।
‘मामी, प्लीज़ एक बार…’
वो बोली- क्या एक बार?
मैंने मामी का हाथ पकड़ा और अपने लंड पर रख दिया।
मामी बोलीं- यह क्या कर रहे हो?
मैंने कहा- मामी प्लीज़ एक बार प्लीज़…
वो गुस्से में बोलीं- तुम ये क्या कर रहे हो.. मैं तुम्हें ऐसा नहीं समझती थी…
मैंने कहा- मामी, मुझ पर दया कर दो.. एक बार प्लीज़…
मैं उनके सामने गिड़गिड़ाने लगा, मुझे पता था कि उनका मन तो है पर वो नाटक कर रही हैं।
वो बोली- बताओ मैं क्या करूँ?
मैंने उनका हाथ पकड़ा और अपने लंड पर रख दिया और कहा- आप ही इसको शान्त कर सकती हैं।
वो नखरे तो कर रही थी पर मेरे लंड को पकड़े हुए थी और थोड़ा-थोड़ा दबा भी रही थी।
वो बोली- मैं ऐसी नहीं हूँ अगर मामा को पता चल गया तो?
मैं समझ गया था कि वो भी गर्म होने लगी है।
मैंने मौके का फायदा उठाते हुए उन्हें पकड़ लिया और चुम्बन करने लगा।
वो मुझसे छूटने की झूटी कोशिश करने लगी।
मैंने उन्हें गोदी में उठाया और बिस्तर पर लिटा दिया।
मैं उनके ऊपर चढ़ गया और उनके दूधों को दबाने लगा।
वो बोली- यह गलत है।
मैं उनके मम्मों को दबाए जा रहा था।
पहले तो वो थोड़ा विरोध कर रही थीं पर बाद में मुँह से गरम-गरम ‘आहें’ भरने लगीं।
मैंने उनकी साड़ी उतार दी और उनके पेट को चूमने लगा।
वो बहुत मस्त हो रही थीं फिर मैंने उनके ब्लाउज के ऊपर से ही मम्मों को दबाने लगा और उन्हें पीने लगा।
कुछ ही पलों में मैंने उनके ब्लाउज को खोल कर फेंक दिया, वो ब्रा नहीं पहने थीं।
उनके उठे हुए मम्मों को देख कर मैं बहुत खुश हो उठा।
कितने मस्त मम्मे थे वो.. मैं उन्हें पीने लगा।
अब मामी के जिस्म पर सिर्फ़ एक कपड़ा बचा था.. वो भी एक छोटी सी काले रंग की पैन्टी, मैंने उसको भी अलग कर दिया।
अब मामी मेरे सामने पूरी नंगी लेटी थीं, मैं उनके जिस्म से खेल रहा था।
आह्ह..क्या मजा आ रहा था।
अचानक मामी मे मुझे धक्का दिया और मुझे अपने नीचे कर लिया।
वो चुदासी हो कर बोली- अबे साले.. मुझे नंगी करके खुद कपड़े पहने हुए है।
मुझ पर भूखी शेरनी की तरह टूट पड़ी और मुझे पूरा नंगा कर दिया, मेरे लंड को पकड़ कर कहने लगी- वाह्ह.. तुम्हारा क्या शानदार लंड है।
वो उसे मुँह में लेकर चूसने लगीं, मुझे जन्नत का मजा आने लगा और मैं उन्हीं के मुँह में छूट गया।
वो मेरा सारा माल पी गईं और मेरा लंड अब मुरझा गया था, वो उसे फिर मुँह में लेकर चूसने लगीं।
मेरा पूरा 8 इंच का लंड फिर से खड़ा गया…
अब वो बोलने लगी- मुझे जल्दी से चोद कर ठंडा कर सोनू.. मैं मरी जा रही हूँ।
उन्होंने मुझे फिर से अपने ऊपर लिटा लिया।
मैं उनकी चूत को चाटने लगा क्या मस्त गुलाबी चूत थी।
मैं जीभ से ही उन्हें चोदने लगा और वो ‘आहें’ भरने लगी।
‘मैं आ रही हूँ…’ और उन्होंने अपना पानी छोड़ दिया।
मैं पूरा पानी पी गया और मैं उनके मम्मों को काटने लगा।
वो सिसकारियाँ भर रही थीं, उनके मम्मों से दूध आ रहा था, वो मुझसे कहने लगीं- सोनू अब जल्दी से अपनी मामी को चोद दो.. फाड़ दो.. अपनी मामी की चूत.. रंडी बना दो मुझे.. प्लीज़ सोनू जल्दी पेलो.. मेरी चूत में अपना लंड और मुझे अपनी राण्ड बना लो…
मैं उन्हें तड़पता देख कर मजा ले रहा था और वो तड़प रही थीं।
फिर मैं उनके पैरों के बीच में आ गया।
उन्होंने अपने पैर खोल लिए और मेरा लंड पकड़ कर अपनी चूत में पेलने लगीं- सोनू, चोद अपनी राण्ड लक्ष्मी को.. फाड़ दे मेरी चूत…
मैंने जैसे ही धक्का मारा.. मेरा आधा लंड उनकी चूत में घुस गया और वो चीख पड़ी..
मैंने कहा- क्या दर्द हो रहा है.. क्या निकाल लूँ?
वो बोली- अबे मादरचोद.. पूरा डाल.. मैं चाहे जितनी भी चीखती रहूँ तू तो बस मुझे चोद…
मैंने जोश में एक और धक्का मारा, मेरा पूरा लौड़ा उनकी चूत में घुस गया और वो उछल पड़ी।
मैं उन्हें धकापेल चोदने लगा।
उसके मुँह से ‘उउह आअह’ की आवाजें निकल रही थीं और कमरा चुदाई के मधुर संगीत की आवाजों से भर गया था।
वो दो बार छूट चुकी थी और मैं अभी भी उन्हें चोदे जा रहा था।
करीब 20 मिनट की चुदाई के बाद मैं उनकी चूत में ही छूट गया और उनके ऊपर ही ढेर हो गया।
फिर थोड़ी देर में मेरा लंड फिर खड़ा होने लगा और मैंने मामी को पूरी रात में 5 बार चोदा।
मेरी मामी की चूत चुदाई की कहानी कैसी लगी दोस्तों आपको..
अगली कहानी में आपको बताऊँगा कि मैंने कैसे मामी की गाण्ड मारी और उन्होंने अपनी सहेली को कैसे चुदवाया।
प्लीज़ मुझे मेल कीजिए।
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