मकानमालिक की सख्त मिजाज़ पर खूबसूरत पुत्रवधू को मैं उनके रोजमर्रा के काम कर कर के खुश कर रहा था लेकिन उनकी तरफ़ से कोई खास बढ़ावा नहीं मिला तो मैंने ही पहल की और भाभी को दबोच लिया…
पीजी पर रहते हुए मेरी मुलाक़ात मकानमालिक की सख्त मिजाज़ पुत्रवधू से हुई, बहुत खूबसूरत थी वो पर बहुत रूखेपन से बोलती थी, लेकिन क्यों थी वो ऎसी? कैसे उसे मैंने सेट किया…
अर्जुन लाल साड़ी में लिपटी मेघा को अपनी छाती में दबोचा जा रहा था, अर्जुन के होंट मेघा के गुलाबी लबों को कसे जा रहे थे, मेघा अब अर्जुन की पकड़ को सहन नहीं कर पा रही थी, दर्द से हल्की हल्की कराह रही थी..
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