मास्टरनी की चुदाई के दौरान एक बार मैंने उसकी गाण्ड के छेद से भी छेड़खानी कर डाली थी तो उसने मुझे कहा था कि अभी मैं इस छेद को ना छेड़ूँ, बाद में वह मुझे इसका मज़ा भी देगी।
मेरा पाँव अचानक मंजू के हाथ पर लगा। मैंने अपना पांव हटा लिया तो वो मेरी तरफ़ देखने लगी जैसे कह रही हो कि क्योँ हटा लिया। मैं मुस्करा दिया और दूसरी तरफ़ देखने लगा कि कहीं किसी का ध्यान मेरी तरफ़ तो नहीं, पर किसी ने नहीं देखा।
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